तुम हंशी हो गुलाब जैसी होबहुत नाज़ुक हो ख़्वाब जैसी होहोठों से लगाकर पी जाऊ तुम्हेसर से पाँव तक शराब जैसी होTum Hanshi Ho Gulab Jasi HoBhut Nazuk Ho Kwab Jaisi HoHotho Se Lgakar Pi Jaau TumheSar Se Pav Tak Srab Jaisi Ho