आदत बना ली मैंने खुद को तकलीफ देने की
ताकि जब कोई अपना तकलीफ दे तो ज्यादा तकलीफ ना हो
न मिले किसी का साथ तो हमें याद करना,
तन्हाई महसूस हो तो हमें याद करना
खुशियाँ बाटने के लियें दोस्त हजारो रखना,
जब ग़म बांटना हो तो हमें याद करना
मेरे लफ्ज़ अगर उस तक पहुँच जाएं
तो बस इतना कह देना,
हम जैसे लोग एक बार खो जाए
तो फिर दुबारा नहीं मिलते।
सपने तो बहुत आये पर,
तुमसा कोई सपनों मे न आया
फिजा मे फूल तो बहुत खिले पर,
तुमसा फूल न मुसकुराया