दरिया वफाओ का कभी रुकता नहीं
मोहब्बत में इन्सान कभी झुकता नहीं
खामूश है हम उनके ख़ुशी के खातिर
वो समझते है की दिल हमारा दुखता नहीं
from : Bio Shayari